नई दिल्ली। हिन्दुस्तान की पहली लक्जरी रेलगाड़ी राजधानी एक्सप्रेस राजधानी एक्सप्रेस के आज नई दिल्ली पहुंचने पर भव्य स्वागत किया गया। यह रेलगाड़ी हावड़ा से दुल्हन बनकर रवाना हुई थी। स्वर्ण जयंती बर्थ डे के अवसर पर हावड़ा रेलवे स्टेशन पर इसकी रवानगी के अवसर पर जश्न मनाया गया। रेलगाड़ी रवानगी से पहले बाकायदा केक काटा गया, यात्रियों को मिठाई खिलाई गई।भारतीय रेलवे में 3 मार्च 1969 को हावड़ा से नई दिल्ली के बीच चली इस रेलगाड़ी को 3 मार्च को 50 साल पूरे हो गए। इस उपलक्ष्य में कोलकाता में जश्न मनाया गया। रवानगी से पूर्व पूरी रेलगाड़ी को रंगबिरंगे गुब्बारो से सजाया गया। गेंदें और सेवंती के फूलों से सजी यह रेलगाड़ी दुल्हन लग रही थी। स्टेशन से छुक-छुक करते हुए धीरे-धीेर रवाना हुई तो ऐसा लग रहा था जैसे वह अपने पीहर से ससुराल चली हो।
पहली एसी ट्रेन
पूर्वी रेलवे के एक अधिकारी ने बताया कि यह रेलगाड़ी हिन्दुस्तान की पहली वातानुकूलित ट्रेन थी। यह हावड़ा से नई दिल्ली तक 1450 किलोमीटर का सफर 17 घंटे 20 मिनट में पूरा करती है। यह हाई स्पीड ट्रेन है।
केक काटा,विशेष डाक टिकट
हावड़ा से रवागी से पहले इस ट्रेन का हैप्पी बर्थ डे मनाया गया। बाकायदा केक काटा गया और वहां मौजूद सभी लोगों को खिलाया गया। इस अवसर पर एक विशेष डाक टिकट भी जारी किया गया।
फिश, रसगुल्ला व आइसक्रीम
आईआरसीटीसी के महाप्रबंधक देवाशीष चन्द्रा ने कहा कि यात्रियों को हैप्पी बर्थ डे सफर में फिश फ्राई, वेजीटेबल कटलेट, रसगुल्ला और आईसक्रीम परोसी गई। यात्रियों ने भी अपनी पसंदीदा ट्रेन के 50 साल पूरे करने पर खुशियां मनाई। यात्रियों को राजधानी एक्सप्रेस के 50 साल लिखे नए लिनेन के यूज एण्ड थ्रो नेपकिन बांटे गए। ड्यूटी पर तैनात कर्मचारियों व अधिकारियों ने -राजधानी एक्सप्रेस के गौरवमयी 50 साल-का संदेश देने वाले बैज पहने।
स्वागत
इस रेलगाड़ी का धनबाद, गया, पंडित दीन दयाल उपाध्याय जंक्शन ;मुगलसरायद्ध बैज, इलाहबाद और कानपुर स्टेशनों पर जोरदार स्वागत किया गया। नई दिल्ली पहुंचने पर इस ट्रेन का अभिनंदन किया गया।