आजमगढ़। शाहगंज-फेफना रेलवे लाइन के दोहरीकरण (doubling) प्रोजेक्ट पर लगभग 1030 करोड़ रूपए खर्च आएंगे। इससे रेलगाड़ियों के संचालन में सुविधा मिलेगी। रेल लाइन का
दोहरीकरण (doubling) का कार्य आरम्भ हो गया है। दोहरीकरण के कार्य में गति लाने के लिए प्रोजेक्ट से जुड़े कर्मचारी, अधिकारी और अभियंता दिन रात लगे हुए हैं। रेल के उच्चाधिकारी साइट का लगातार दौरे भी कर रहे हैं। दोहरीकरण की इस परियोजना पर लगभग 1028.95 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। हालांकि इसके लिए पूर्व में रेलवे ने 31 करोड़ रुपये की मंजूरी भी दी थी। रेलवे ने इस परियोजना को पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। रेल विभाग ने इसके निर्माण की जिम्मेदारी रेल विकास निगम लिमिटेड को सौंपी है। विभाग ने शाहगंज से फेफना के बीच में पड़ने वाले समपार क्रासिग को बंद कर दिया है। हालांकि शाहगंज से फेफना तक 150 किमी लंबी रेल लाइन के दोहरीकरण के लिए वर्ष 2018 में 31 करोड़ रुपये का बजट पास हुआ था। दोहरीकरण होने से जिले को सबसे अधिक लाभ होगा। साथ ही जिले में विकास की रफ्तार भी रेलवे की पटरी पर पकड़ेगी।
टार्गेट मार्च 2020 तक
दोहरीकरण की इस परियोजना को मार्च 2020 तक पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित है। समयावधि में योजना को पूरा कर इस क्षेत्र के लोगों को वर्षों पुरानी सौगात मिलेगी जिससे लोगों का सफर और सुहाना हो सकेगा। शाहगंज-फेफना दोहरीकरण के लिए रेलवे अधिकारियों का कई बार इस रूट पर दौरा हुआ था। इस दौरान रेलवे स्टेशन, सिग्नल, जमीन की उपलब्धता, पुल-पुलिया आदि का विस्तार पूर्वक सर्वे किया। इस संबंध में जनसंपर्क अधिकारी अशोक कुमार ने बताया कि सर्वे का मुख्य उद्देश्य दोहरीकरण के कार्य में तेजी लाना है। दोहरीकरण कार्य को लेकर रेलवे ने तैयारी तेज कर दी है। सर्वे के बाद दोहरीकरण का कार्य तेज हो गया है। अगले ग्यारह महीने में इस काम को पूरा किया जाएगा।